India Too Needs An ‘Obama’

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भारत में भी चाहिए एक अदद ‘ओबामा’

19 Jan 2009, 1503 hrs IST,हेलो दिल्ली

अनु चौहान

वैसे तो बराक ओबामा इन दिनों हर जगह छाए हुए हैं, लेकिन कैंपस के स्टूडंट्स के बीच उनका सबसे ज्यादा क्रेज़ है। यूथ ओबामा में खुद को देखता है और उन्हें अपना आइकन मानता है। स्टूडंट्स का मानना है कि अब अमेरिका पहले के मुकाबले ज्यादा प्रोग्रेस करेगा। साथ ही वे यह भी मानते हैं कि अब भारत की बागडोर भी किसी यंग लीडर के हाथों में सौंपनी होगी, ताकि हम भी तेजी से तरक्की कर सकें। आर्ट फैकल्टी से लैंग्विज कोर्स कर रहे आशीष कहते हैं, ‘ओबामा के चुनाव जीतने के बाद से ही मुझे लगता है कि मैं भी अपने देश के लिए कुछ कर सकता हूं। अगर मौका मिला तो मैं भी पॉलिटिक्स जॉइन करूंगा।’

लगता है कि ओबामा ने यूथ की सोच को बिल्कुल बदल दिया है। आज से पहले यूथ पॉलिटिक्स के बारे में कुछ अलग ही नजरिया रखता था। एमएससी सेकंड यिअर की स्टूडंट नीरा भार्गव बताती हैं, ‘पहले मैं सोचती थी कि पॉलिटिक्स में सिर्फ बुजुर्ग लोग ही जा सकते हैं, लेकिन जबसे ओबामा, राहुल गांधी और उमर अब्दुल्ला जैसे नाम सुनाई दिए हैं, तो पॉलिटिक्स के प्रति मेरा नजरिया बिल्कुल बदल गया है। ओबामा ने हमारे विचारों को बदला है। मैं चाहती हूं कि हमारे देश में भी यंग लोगों को पॉलिटिक्स में आगे बढ़ने का मौका दिया जाए।’

हालांकि राष्ट्रपति पद के लिए चुने हुए ज्यादा वक्त नहीं हुआ है, लेकिन वह इतने चर्चित हो चुके हैं कि युवा उनकी लिखी किताबें, स्टाइल स्टेटमंट और विचारों को फॉलो और डिस्कस कर रहे हैं। फर्स्ट यिअर के स्टूडंट संजीव कहते हैं, ‘मेरी क्लास में तो हर लड़की ओबामा की फैन है।

वह रीयल लाइफ के हीरो हैं। भारत में भी उम्रदराज लोगों की बजाय ओबामा जैसे यंग इंसान को प्रधानमंत्री बनना चाहिए।’ वहीं जामिया यूनिवर्सिटी की स्टूडंट अनिता कहती हैं, ‘मैं खुश हूं कि ओबामा जैसे यंग लोगों को जनता ने मौका दिया। लेकिन भारत की जनता को भी इससे सबक लेना चाहिए। जब अमेरिका की जनता ने ओबामा को चुना है, तो फिर हम ऐसे पॉलिटिशियन को क्यों चुनते हैं, जो देश के लिए कुछ नहीं कर पाते हैं?’ बहरहाल यूथ की सोच से यह साफ है कि अब भारत को भी एक यंग प्रधानमंत्री की तलाश है!

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